- मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की अध्यक्षता में मंत्रालय महानदी भवन में आयोजित हुए कैबिनेट की बैठक
- 400 यूनिट यूज करने वालों को भी राहत,इससे ज्यादा उपयोग पर नहीं मिलेगा योजना का लाभ
रायपुर,03 नवम्बर 2025। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की अध्यक्षता में बुधवार को महानदी भवन में कैबिनेट मीटिंग हुई। बैठक में बिजली बिल को लेकर महत्वपूर्ण फैसले लिए गए। राज्य में 1 दिसंबर 2025 से मुख्यमंत्री ऊर्जा राहत जन अभियान लागू किया गया है। इसके तहत घरेलू उपभोक्ताओं को 100 यूनिट के बजाय 200 यूनिट तक बिजली बिल पर 50 प्रतिशत की छूट मिलेगी। यह राहत 400 यूनिट तक खपत वाले उपभोक्ताओं को भी मिलेगी। इसके तहत 200 से 400 यूनिट तक बिजली खर्च करने वाले परिवारों को अगले एक साल 200 यूनिट तक हाफ बिल ही देना होगा। ताकि वे इस दौरान अपने घरों में पीएम सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना के तहत सोलर प्लांट स्थापित करा सके। इससे लगभग 6 लाख उपभोक्ताओं को फायदा होगा। वहीं 400 यूनिट से ज्यादा खपत पर योजना का लाभ नहीं मिलेगा। बता दें कि 4 महीने पहले यानी 1 अगस्त 2025 को सरकार ने बिजली बिल हाफ योजना पर बड़ा बदलाव किया था। भूपेश सरकार के समय लागू 400 यूनिट की सीमा को घटाकर 100 यूनिट कर दिया था। इस बदलाव का असर सीधे-सीधे लाखों परिवारों पर पड़ा था। बिल लगभग डबल हो गया था। विपक्षी दलों ने विरोध जताया। इसके बाद साय सरकार ने 100 यूनिट को बढ़ाकर 200 यूनिट बिजली बिल हाफ योजना की घोषणा की। सीएम साय ने विधानसभा के विशेष सत्र के समापन पर इसका ऐलान किया था। 1 दिसंबर से नई योजना लागू हुई थी।
42 लाख उपभोक्ताओं को राहत…
मुख्यमंत्री ऊर्जा राहत जन अभियान से प्रदेश के 42 लाख उपभोक्ता लाभान्वित होंगे, वहीं प्रधानमंत्री सूर्य घर मुक्त बिजली योजना का लाभ प्रदेश के सभी उपभोक्ताओं को मिलेगा। गौरतलब है कि पीएम सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना के तहत राज्य शासन की ओर से सब्सिडी दी जा रही है, जिसके तहत 1 किलोवॉट क्षमता के सोलर प्लांट पर 15,000 रुपए और 2 किलोवॉट या उससे अधिक क्षमता के प्लांट पर 30,000 रुपए की अतिरिक्त सब्सिडी दी जा रही है। सरकार का दावा है कि यह व्यवस्था राज्य में सौर ऊर्जा अपनाने को प्रोत्साहित करेगी और आने वाले समय में उपभोक्ताओं को हाफ बिजली से फ्री बिजली की ओर ले जाएगी।
नई बिजली बिल हाफ योजना को समझिए उदाहरण सहित
अगर कोई परिवार हर महीने 200 यूनिट बिजली खर्च करता है, तो उसका औसत बिल अभी लगभग 840 से 870 रुपए के बीच आता है। इसमें पहले 100 यूनिट का रेट 4.10 प्रति यूनिट और अगले 100 यूनिट का रेट 4.20 प्रति यूनिट है। अब नई योजना के तहत 200 यूनिट तक हाफ बिल स्कीम लागू है। यानी उपभोक्ता को सिर्फ आधा भुगतान करना होगा। पहले 100 यूनिट का बिल 410 से 450 तक होता है, जो अब आधा होकर 205 से 225 के बीच रह जाएगा। दूसरे 100 यूनिट (100-200) के लिए बिल 840 से 870 तक आता है, जो अब समान रहेगा, क्योंकि यह 200 यूनिट की सीमा में ही है। कुल मिलाकर 200 यूनिट पर उपभोक्ता को लगभग 420 से 435 की सीधी राहत मिलेगी। यानी जो उपभोक्ता पहले 1250-1300 तक का बिल देते थे, अब उन्हें सिर्फ 800-850 का ही बिल चुकाना पड़ेगा।
जनता को राहत,लेकिन विभाग पर बढ़ेगा भार…
सरकार का नया मसौदा लागू होते ही राज्य सरकार पर सैकड़ों करोड़ रुपए का अतिरिक्त सब्सिडी भार बढ़ेगा। जानकारों के मुताबिक योजना के तहत गरीब और मध्यमवर्गीय परिवारों की जेब पर पड़ रहा दबाव कम होगा। बिजली बिलों का भुगतान भी नियमित रूप से हो सकेगा।
कांग्रेस और विपक्षी दलों ने जताया था विरोध
योजना में कटौती के बाद कांग्रेस और विपक्षी दलों ने लगातार विरोध जताया था। कई जिलों में उपभोक्ताओं ने बढ़े हुए बिलों के खिलाफ प्रदर्शन भी किया था। वहीं, छोटे परिवारों और ग्रामीण क्षेत्रों के उपभोक्ताओं पर इसका आर्थिक असर साफ दिखने लगा था। सरकार के भीतर भी यह महसूस किया गया कि, सीमित खपत वाले उपभोक्ताओं को राहत देना जरूरी है। इसलिए अब इस योजना की सीमा को 100 यूनिट से बढ़ाकर 200 यूनिट करने की दिशा में कदम बढ़ाए गए।
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