नई दिल्ली, 28 सितम्बर 2025 (ए)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को अपने रेडियो शो मन की बात के 126 वें एपिसोड में फेस्टिव सीजन, आत्मनिर्भर भारत, वोकल फॉर लोकल पर बात की। पीएम ने कहा…इस बार त्योहारों में स्वदेशी सामान ही खरीदें। ठान लीजिए,हमेशा के लिए, जो देश में तैयार हुआ है,वही खरीदेंगे। इसके अलावा पीएम ने दशहरा और छठ पर्व पर भी बात की। मोदी ने कहा…भारत सरकार छठ पर्व को यूनेस्को की लिस्ट में शामिल करने पर काम कर रही है। इसके बाद पूरी दुनिया में पर्व की भव्यता फैलेगी। कार्यक्रम की शुरुआत,भगत सिंह- लता मंगेशकर को श्रद्धांजलि पीएम ने कहा…आज लता मंगेशकर की जयंती है। भारतीय संस्कृति और संगीत में रूचि रखने वाला कोई भी उनके गीतों को सुनकर अभिभूत हुए बिना नहीं रह सकता। उनके गीतों में वो सब कुछ है जो मानवीय संवदेनाओं को झकझोरता है। मराठी सुगम संगीत की महान हस्ती सुधीर फड़के जी ने सबसे पहले लता दीदी से मेरा परिचय कराया था। मैंने लता दीदी को कहा कि मुझे आपका गाया गाना ज्योति कलश छलके बहुत पसंद है। अमर शहीद भगत सिंह,हर भारतवासी, विशेषकर देश के युवाओं के लिए एक प्रेरणापुंज है। निर्भीकता उनके स्वभाव में कूट-कूट कर भरी थी। देश के लिए फांसी के फंदे पर झूलने से पहले भगत सिंह जी ने अंग्रेजों को एक पत्र भी लिखा था। उन्होंने कहा था कि मैं चाहता हूं कि आप मुझे और मेरे साथियों से युद्धबंदी जैसा व्यवहार करें। इसलिए हमारी जान फांसी से नहीं, सीधा गोली मार कर ली जाए।
2 अक्टूबर को कोई ना कोई
खादी प्रोडक्ट जरूर खरीदें : मोदी
2 अक्टूबर को गांधी जयंती है। गांधी जी ने हमेशा स्वदेशी को अपनाने पर बल दिया और इनमें खादी सबसे प्रमुख थी। दुर्भाग्य से आजादी के बाद,खादी की रौनक कुछ फीकी पड़ती जा रही थी लेकिन बीते 11 साल में खादी के प्रति देश के लोगों का आकर्षण बहुत बढ़ गया है। पिछले कुछ वर्षों में खादी की बिक्री में बहुत तेजी देखी गई है। मैं आप सभी से आग्रह करता हूँ कि 2 अक्टूबर को कोई ना कोई खादी प्रोडक्ट जरूर खरीदें। गर्व से कहें ये स्वदेशी हैं। इसे सोशल मीडिया पर वोकल फॉर लोकल के साथ शेयर भी करें।
पीएम के संबोधन की बातें…
वोकल फॉर लोकल पर…
हम ठान लें कि इस बार त्योहार सिर्फ स्वदेशी चीजों से ही मनाएंगे,तो देखिएगा, हमारे उत्सव की रौनक कई गुना बढ़ जाएगी। ङ्कशष्ड्डद्य द्घशह्म् रुशष्ड्डद्य को खरीदारी का मंत्र बना दीजिए। ठान लीजिए,हमेशा के लिए,जो देश में तैयार हुआ है, वही खरीदेंगे। जिसे देश के लोगों ने बनाया है, वही घर ले जाएंगे। जिसमें देश के किसी नागरिक की मेहनत है, उसी सामान का उपयोग करेंगे।
छठ पर्व पर…
हमारे पर्व,त्योहार भारत की संस्कृति को जीवंत बनाए रखते हैं। छठ पूजा ऐसा एक पावन पर्व है जो दीवाली के बाद आता है। सूर्य देव को समर्पित यह महापर्व बहुत ही विशेष है। इसमें हम डूबते सूर्य को भी अर्घ्य देते हैं, उनकी आराधना करते हैं। छठ ना सिर्फ देश के अलग-अलग हिस्सों में मनाई जाती है, बल्कि दुनिया भर में इसकी छटा देखने को मिलती है। आज ये एक ग्लोबल फेस्टिवल बन रहा है। मुझे आपको ये बताते हुए बहुत खुशी है कि भारत सरकार भी छठ पूजा को लेकर एक बड़े प्रयास में जुटी है।
आरएसएस को लेकर…
इस बार विजयादशमी एक और वजह से बहुत विशेष है। इसी दिन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की स्थापना के 100 साल हो रहे हैं। एक शताब्दी की ये यात्रा जितनी अद्भुत है, अभूतपूर्व है, उतनी ही प्रेरक है। आज से 100 साल पहले जब राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की स्थापना हुई थी, तब देश सदियों से गुलामी की जंजीरों में बंधा था। सदियों की इस गुलामी ने हमारे स्वाभिमान और आत्मविश्वास को गहरी चोट पहुंचाई थी।
स्वच्छ भारत पर…
त्योहारों पर हम सब अपने घर की सफाई में जुट जाते हैं। लेकिन स्वच्छता सिर्फ घर की चारदीवारी तक सीमित न रहे। गली,मोहल्ला,बाज़ार,गाँव हर जगह पर सफाई हमारी जिम्मेदारी बने। साथियो,हमारे यहां ये पूरा समय उत्सवों का समय रहता है और दीवाली एक प्रकार से महा-उत्सव बन जाता है मैं आप सबको आने वाली दीपावली की भी बहुत-बहुत शुभकामनाएँ देता हूं।
 
		 घटती-घटना – Ghatati-Ghatna – Online Hindi News Ambikapur घटती-घटना – Ghatati-Ghatna – Online Hindi News Ambikapur
घटती-घटना – Ghatati-Ghatna – Online Hindi News Ambikapur घटती-घटना – Ghatati-Ghatna – Online Hindi News Ambikapur
				 
			 
					
				