कोरिया@ क्या सौभाग्यवती को जिला पंचायत अध्यक्ष ना बनाकर मोहित को बनाने का फैसला गलत?

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जिन्होंने बनाया मोहित पैकरा को जिला पंचायत अध्यक्ष अब वे ही सदस्य उपेक्षा से हैं नाराज?
कार्यशैली को लेकर उठ रहे सवाल,चुनाव में जो नहीं थे साथ अब वे बने सलाहकार बाकी कार्यकर्ता और सहयोगी हुए दूर
आसान नहीं होगी 5 साल की राह,1 साल बाद अविश्वास प्रस्ताव लगने की संभावना
ऐसे विवादित श्रेणी के व्यक्ति को जिला पंचायत अध्यक्ष बनाना भाजपा जिलाध्यक्ष के लिए भी सवालिया निशान

-रवि सिंह-
कोरिया,19 जुलाई 2025 (घटती-घटना)। त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव संपन्न होने के बाद सौभाग्यवती को कोरिया जिले से भाजपा के लिए जिला पंचायत अध्यक्ष की प्रबल दावेदार थी पर संगठन की मनमानी ने उनसे अध्यक्ष पद छीन लिया, उन्हें बगावत करने के लिए मजबूर कर दिया, आज जिन्हें संगठन व भाजपा ने अपना जिला पंचायत अध्यक्ष का उम्मीदवार माना आज उसकी कार्यप्रणाली ही भाजपा के लिए गलत फैसला लेने वाली निर्णय मानी जा रही है, सौभाग्यवती को दरकिनार कर भाजपा के लिए मोहित को उपकृत करना कहीं ना कहीं अब नुकसान समझ में आने लगा है या माना जाए तो अंदर खाने में यह बात उठने लगी है कि सौभाग्यवती को ही जिला पंचायत अध्यक्ष बनना चाहिए था पर भाजपा जिलाध्यक्ष की वजह से सौभाग्यवती की जगह मोहित जिला पंचायत अध्यक्ष बन गए जिसे लेकर भाजपा जिलाध्यक्ष की खूब किरकिरी भी हुई थी आज संगठन भी इस फैसले को लेकर अब अंदर खाने से खुश नहीं है कहीं ना कहीं इस फैसले को अब गलत माना जा रहा है। एक साल पहले तक कांग्रेसी रहे कोरिया जिला पंचायत के अध्यक्ष के खिलाफ दिनों दिन आक्रोश बढ़ता जा रहा है सरपंच के बाद सीधे जिला पंचायत की कुर्सी पाकर उन पर गर्मी स्पष्ट दिखलाई दे रही है तो उनके खिलाफ निर्वाचन क्षेत्र से भी नाराजगी बढ़ी है, जिस उम्मीद और विश्वास से स्थानीय जनता से मोहित पैकरा को अपना नेता चुना था और वेदांती तिवारी जैसे जमीनी नेता से किनारा किया था उसके बाद मोहित पैकरा के बदले तेवर और रंग रूप से जनता भी खुद को ठगा सा महसूस कर रही है यही नहीं जिला पंचायत के चुनाव में भारी फूट होने के बाद भी जिन लोगों ने मोहित पैकरा का साथ देकर उन्हें अध्यक्ष बनाया अब वे जिला पंचायत सदस्य भी खुद की उपेक्षा से नाराज हैं, आने वाले समय में यह आक्रोश और बढ़ने की संभावना भी है। दैनिक घटती घटना का अंदेशा उस समय भी यही था कि भाजपा सही उम्मीदवार को जिला पंचायत अध्यक्ष नहीं बना रही है आखिर घटती-घटना का एक बार फिर से अंदेशा सही साबित होता दिख रहा है।

बेलगाम हुए मोहित पैकरा,संगठन के कई पदाधिकारी नाराज:सूत्र
जिला पंचायत अध्यक्ष का पद मोहित पैकरा को संगठन नेताओं के बदौलत प्राप्त हुआ है शुरू में उन्हें संगठन के करीब भी देखा गया लेकिन सलाहकारों की सलाह पर जब से उन्होंने 2028 में विधायक बनने का सपना देख लिया है तब से वे बेलगाम भी हो चुके हैं संगठन की जानकारी के बगैर उनके द्वारा कई काम किए जा रहे हैं गलत लोगों को आश्रय दिया जा रहा है। हालांकि बतलाया जाता है कि मोहित पैकरा की गतिविधि पर संगठन की नजर भी है संगठन के कई नेता इसे लेकर नाराज भी हैं और आने वाले समय में इस विषय पर भी सवाल जवाब किया जा सकता है।
कार्यशैली बनी चर्चा का विषय,नए सलाहकार डूबा रहे लुटिया
मोहित पैकरा राजनीति के क्षेत्र में एक नया चेहरा हैं उन्हें पूर्व में पार्टी के जिलाध्यक्ष का भरपूर सहयोग मिलता रहा है लेकिन सूत्रों का कहना है कि श्री पैकरा के नए नए सलाहकार बने लोगों ने उन्हें अभी से विधायक बनने का ख्वाब दिखाकर नया लाइन तैयार करने की सलाह दी है हालांकि भाजपा की राजनीति को जानने वाले लोगों का कहना है कि इतना आसान नहीं है पार्टी में संगठन लाइन से चलने वाले जनप्रतिनिधियों को ही महत्व मिलता है कोई जनप्रतिनिधि यदि संगठन से बाहर जा कर अपनी लाइन तैयार करता है तो उसे उसकी भरपाई करनी पड़ती है। इन दिनों मोहित पैकरा की कार्यशैली की चर्चा जिला पंचायत सदस्यों के बीच भी जमकर हो रही है, बताया जाता है कि जिन सदस्यों ने अध्यक्ष के निर्वाचन के समय मोहित पैकरा का साथ दिया था अब उनकी भी उपेक्षा हो रही है एकला चलो की रणनीति मोहित पैकरा पर भारी पड़ रही है तो वहीं नए नए सलाहकार बने कुछ शासकीय कर्मचारी उनकी लुटिया डुबाने के लिए अनाप शनाप सलाह दे रहे हैं।
ऐसा रहा हाल तो 5 साल नहीं रहेगा मोहित पैकरा का कार्यकाल
जिला पंचायत के अध्यक्ष मोहित पैकरा द्वारा जिस प्रकार की कार्यशैली से काम किया जा रहा है वह आने वाले समय में उनके पद के लिए परेशानी का सबब बन सकता है यह तो पहले से तय है कि भाजपा समर्थित जिला पंचायत सदस्य मोहित पैकरा के पक्षधर नहीं हैं और सूत्रों का दावा है कि जिन्होंने निर्वाचन में साथ देकर उन्हें अध्यक्ष बनाया वे भी उपेक्षा के कारण नाराज बतलाए जा रहे हैं। अंदर ही अंदर सदस्यों में इस बात की चर्चा है कि यदि यही रवैया रहा तो 1 साल के बाद मोहित पैकरा के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाकर उन्हें पद से हटाया जा सकता है।
क्या भाजपा जिलाध्यक्ष दे रहे संरक्षण या मामले में लेंगे सुध?
मोहित पैकरा को अध्यक्ष बनाए जाने के लिए भाजपा जिलाध्यक्ष ने काफी मेहनत किया था यह सर्वविदित है अन्यथा खुद मोहित पैकरा अपने बलबूते इस लायक भी नहीं थे,लगातार मोहित पैकरा के बारे में खबरें बाहर आ रही हैं संगठन के निर्णय के खिलाफ भी उनके द्वारा काम किया जा रहा है,जो कि सही नहीं है यदि इसके बाद भी भाजपा जिलाध्यक्ष द्वारा ऐसे जनप्रतिनिधि को संरक्षण दिया जाता है तो इससे संगठन की मर्यादा तार तार होगी। भाजपा जिलाध्यक्ष को चाहिए कि वे बेलगाम हो चुके जिला पंचायत अध्यक्ष पर कड़ी कार्यवाही करें।
डीएमएफ से चलाना चाहते हैं व्यापार,खुद को बताते हैं सीएम का रिश्तेदार: सूत्र
कोरिया जिला पंचायत के अध्यक्ष मोहित पैकरा खुद को प्रदेश के मुख्यमंत्री का करीबी रिश्तेदार बताकर भरपूर लाभ लेने की कोशिश में भी हैं सूत्रों का कहना है कि कई पंचायतों से कमीशन की बात करने के बाद उन्होंने निर्माण कार्य का प्रस्ताव बनाकर डीएमएफ से स्वीकृति हेतु कलेक्टर कोरिया को सौंपा है,20 प्रतिशत कमीशन मांगे जाने की जानकारी भी सूत्रों द्वारा दी जा रही है। कलेक्टर कोरिया द्वारा जिला पंचायत अध्यक्ष को भेजे गए प्रस्ताव पर अब गंभीरता से विचार करने की जरूरत है।
आखिर विश्राम भवन के कमरा किस काम के लिए खुलवाते हैं मोहित पैकरा…जबकि घर है काफी करीब…
मोहित पैकरा द्वारा आए दिन लोक निर्माण विभाग विश्राम भवन में पहुंचकर कमरा खुलवाया जाता है इस दौरान उनके साथ खास मित्र और सलाहकार भी मौजूद रहते हैं कर्मचारी भय के कारण कुछ बोलना नहीं चाहते लेकिन सवाल उठता है कि जब जिला मुख्यालय से उनका गृह ग्राम काफी नजदीक है तो आखिर वे किस गतिविधि के लिए विश्राम भवन में कमरा लेते हैं,संगठन को चाहिए कि वे इस मामले को भी संज्ञान में ले।


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