बिलासपुर ,11 जून 2025 (ए)। छत्तीसगढ़ में स्कूली शिक्षकों के युक्तियुक्तकरण के नाम पर हो रहे तबादलों को लेकर एक अहम फैसला सामने आया है। छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने शिक्षिका सरोज सिंह के तबादले पर अंतरिम रोक लगाते हुए विभाग को निर्देश दिया है कि वह इस मामले में नए सिरे से विचार करे।
यह आदेश हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति रविन्द्र अग्रवाल की एकलपीठ ने पारित किया, जिसमें याचिकाकर्ता की ओर से पेश तर्कों को प्रथम दृष्टया विचारणीय माना गया। यह आदेश स्कूलों में युक्तियुक्तकरण के तहत किए जा रहे शिक्षकों के तबादले के मद्देनजर महत्वपूर्ण है।
क्या है मामला?
याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता अनादी शर्मा ने पैरवी करते हुए न्यायालय के समक्ष यह तर्क रखा कि उनकी मुवक्किला सरोज सिंह वर्ष 2018 से वर्तमान विद्यालय में कार्यरत हैं, और उन्होंने अंग्रेज़ी के साथ-साथ भूगोल विषय भी पढ़ाया है, क्योंकि विद्यालय में भूगोल विषय का कोई अन्य शिक्षक उपलब्ध नहीं था । इसके बावजूद उन्हें एकतरफा रूप से 45 किलोमीटर दूर स्थित विद्यालय में स्थानांतरित कर दिया गया, जबकि हाल ही में उच्च न्यायालय के आदेश से बहाल की गई एक अन्य व्याख्याता को उसी विद्यालय में अंग्रेजी पढ़ाने के लिए पदस्थ कर दिया गया है ।
अधिवक्ता शर्मा ने बताया कि याचिकाकर्ता की वरिष्ठता अधिक है, और उनका स्थानांतरण शिक्षा की गुणवत्ता के साथ-साथ उनके पारिवारिक दायित्वों को भी प्रभावित करेगा । न्यायमूर्ति रवीन्द्र अग्रवाल की एकलपीठ ने प्रथम दृष्टया याचिकाकर्ता के तर्कों को विचारणीय मानते हुए स्थानांतरण आदेश को स्थगित रखा है, और यह निर्देश किया कि याचिकाकर्ता दो दिवस के भीतर ताजा अभ्यावेदन प्रस्तुत करें, जिस पर विभाग नियमानुसार विचार कर निर्णय लेगा ।
